
श्रमिकों की अमानत को जोखिम में डालना गलत
| | 2016-03-14T10:29:41+05:30
नयी दिल्ली, कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) को शेयर बाजार में घाटा होने के बाद देश भर के...
नयी दिल्ली, कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) को शेयर बाजार में घाटा होने के बाद देश भर के प्रमुख श्रमिक संगठनों ने भविष्य निधि (पीएफ) का जमा पैसा शेयरों में लगाने के फैसले का विरोध करते हुए इसे वापस लेने का दबाव बनाना शुरू कर दिया है।
सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी के सहयोगी संगठन भारतीय मजदूर संघ के महासचिव बृजेश उपाध्याय ने कहा है कि सरकार कर्मचारी और मजदूरों के गाढ़ी कमाई की संरक्षक मात्र है और इसमें किसी भी तरह की कोताही बर्दाश्त नहीं की जायेगी। सरकार को यह समझना चाहिए कि वह भविष्य निधि में जमा पैसा उसके पास श्रमिकों की अमानत है। इसे किसी भी तरह के जोखिम में नहीं डालना चाहिए।
श्री उपाध्याय ने कहा कि संगठन के केंद्रीय न्यासी बोर्ड की अगली बैठक में यह मामला उठाया जायेगा और सरकार से जवाब मांगा जायेगा। उन्होंने कहा कि हम तो पहले से ही इसका विरोध कर रहे थे और इसके पक्ष में नहीं थे। सरकार पर इस फैसले को वापस लेने का दबाव बनाया जायेगा। कर्मचारियों के पीएफ जमा पर कोई खतरा नहीं चाहिए। बोर्ड की अगली बैठक 29 मार्च को प्रस्तावित है।